योग और शूक्ष्म व्यायाम करने से पूर्व कुछ सावधानियां बरतनी जरूरी: रुचिता उपाध्याय
योग और शूक्ष्म व्यायाम करने से पूर्व कुछ सावधानियां बरतनी जरूरी: रुचिता उपाध्याय

आजकल की भागदौड़ और स्ट्रेस भरी जिंदगी में नियमित योगाभ्यास करते रहना अच्छे स्वास्थ्य के लिए कितना ज़रूरी है।
योगाभ्यास करने से पूर्व कुछ सावधानियां और नियम अपनाकर हम अपने स्वास्थ्य को बिगड़ने से बचा सकते हैं।
योगाचार्या रुचिता उपाध्याय बताती हैं कि ऐसे बहुत से लोग है जो किसी एक समय नहीं बल्कि कभी सुबह, दोपहर तो कभी शाम के समय योगाभ्यास करते हैं।
लेकिन आयुर्वेदिक सिद्धांत और विज्ञान के अनुसार प्रातःकाल 6 बजे से लेकर 10 बजे के अंदर योगाभ्यास करना सेहत के लिए बेहतर होता है।
विभिन्न वैज्ञानिक शोधों में सिद्ध हुआ है कि स्वास्थ्य में सुधार और ऊर्जा संतुलन बनाए रखने में नियमित व्यायाम एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है, अन्य वैज्ञानिक अध्ययन के निष्कर्षों में सुबह के योगाभ्यास सत्रों में अधिक स्वास्थ्य लाभ प्रदर्शित हुए हैं।
रुचिता उपाध्याय बताती हैं कि सुबह में योगाभ्यास लगभग 40-45 मिनट तक ज़रूर करना चाहिए।
यदि आप एक घंटे योगाभ्यास करते हैं तो यह अधिकतम स्वास्थ्य लाभ देता है। वे आगे कहती हैं कि आयुर्वेद के अनुसार सर्दियों और स्प्रिंग मौसम योगाभ्यास करना बेहतर समय माना जाता है।
प्राणायाम, योगासन और शूक्ष्म व्यायाम के साथ कुछ किलोमीटर पैदल चलना, स्विमिंग करना, साईकिल चलाना, रनिंग करना, बैडमिंटन खेलना आदि भी व्यायाम की तरह है।
ऐसे में आप सुबह-सुबह इनके द्वारा भी व्यायाम कर सकते हैं। योगाभ्यास के दौरान सांस लेने में परेशानी हो, पैर दर्द या शरीर का अन्य भाग दर्द, सिर दर्द करें या फिर शरीर में पानी की कमी लगे तो योगाभ्यास करने से बचना चाहिए।