प्रो. सरचंद सिंह ख्याला पंजाब भाजपा की राज्य कार्यकारिणी के सदस्य बने।
प्रो. सरचंद सिंह ख्याला पंजाब भाजपा की राज्य कार्यकारिणी के सदस्य बने।

अमृतसर, 19 मई ( राहुल सोनी ) भारतीय जनता पार्टी आगामी लोकसभा चुनाव 2024 से पहले पंजाब में पार्टी को मजबूत करने के लिए जहां नामवर नेताओं को अहम नियुक्तियां दी गई हैं। वहीं भाजपा ने उन सिख बुद्धिजीवियों को भी प्रतिनिधित्व दिया है, जिनका पंजाब के राजनीतिक माहौल में अच्छा नाम व असर रसूख है।
भाजपा प्रदेश अध्यक्ष अश्विनी शर्मा ने हाईकमान की सलाह से पंजाब की राज्य कार्यकारिणी कमेटी का गठन किया, इस मौके पर जाने-माने सिख बुद्धिजीवी और राष्ट्रीय अल्पसंख्यक आयोग के सलाहकार प्रो. सरचंद सिंह के नाम की घोषणा होते ही उनके घर पर बधाई देने वालों का सिलसिला शुरू हो गया।
भाजपा नेता प्रो. गुरविंदर सिंह ममनके, आलमबीर सिंह संधू, अरुण शर्मा इत्यादि ने प्रो. सरचंद सिंह को नई जिम्मेदारी मिलने पर उन्हे बधाई देते हुए लड्डू से मुंह मीठा कराया। इस अवसर पर प्रो. ममनके व श्री संधू ने कहा कि प्रो. सरचंद सिंह पंथ और पंजाब की राजनीतिक जमीन और नब्ज से अच्छी तरह वाकिफ हैं ।
वह एक कुशल, ईमानदार , कर्मठ, सूझवान व रोशन दिमाग के नेता हैं। उनके अनथक परिश्रम व काबिलियत के चलते पार्टी ने उन्हे प्रदेश कार्यकारिणी में बड़ी जिम्मेदारी सौंपी है। प्रो. सरचंद सिंह ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह, भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नडडा
भाजपा संसदीय समिति और केंद्रीय चुनाव समिति के सदस्य और राष्ट्रीय अल्पसंख्यक आयोग के अध्यक्ष इकबाल सिंह लालपुरा, पंजाब भाजपा अध्यक्ष अश्विनी शर्मा का उन पर भरोसा करने पर आभार जताया है। उन्होंने पार्टी को भरोसा दिलाया कि वह उनकी उम्मीदों पर खरा उतरेंगे और निकट भविष्य में आलाकमान तक लोगों का संदेश पहुंचाने और पार्टी को मजबूत करने में अपना योगदान देंगे।
प्रो. सरचंद सिंह ने कहा कि वर्तमान में भाजपा ही एक ऐसी पार्टी है जो पंजाब की कमजोर आर्थिक स्थिति को मजबूत करने की क्षमता रखती है। हालांकि, अन्य राजनीतिक दलों का दावा है कि वे ही पंजाब को मजबूत कर सकते हैं।
लेकिन उन्होंने पंजाब को मजबूत करने की बजाए पतन की ओर ही अग्रसर किया है। इसका खामियाजा आज हर पंजाबी भुगत रहा है। उन्होंने कहा कि पंजाब की हवा सबको आकर्षित करती है लेकिन हमारा दुर्भाग्य रहा है कि पंजाब को मजबूत नेतृत्व नहीं मिल सका।
उन्होंने किसी राजनीतिक दल का नाम लिए बगैर कहा कि आज पंजाब का युवा नशे की गिरफ्त में आ रहा है। लाखों युवा देश छोड़कर विदेशों में पलायन कर रहे हैं। नौजवानों के पंजाब छोड़कर विदेश जाने की रफ्तार यही रही तो पंजाब का अगला वारिस कौन होगा यह सबसे बड़े सवालों में से एक है। पंजाब को बचाने वाली अगली पीढ़ी नजर नहीं आ रही है।
उन्होंने कहा कि जो राजनीतिक दल पंजाब के नौजवानों के लिए रोडमैप नहीं बना सके, वे पंजाब के हितैषी दल कैसे हो सकते हैं? उन्होंने वर्तमान समय में सिख पंथ के सामने आ रही समस्याओं के लिए जिम्मेदार कुछ राजनीतिक दलों के नेताओं की ओर इशारा करते हुए कहा कि उन्होंने अपनी राजनीतिक सीट बचाने के लिए पंजाब के लोगों और पंथ की मर्यादा का अपमान किया है।
उन्होंने कहा कि इस समय पंजाब में एक नई चेतना उभर रही है, जो पंजाब के भविष्य को लेकर चिंतित है और उस चेतना को सिर्फ बीजेपी ही समझ रही है. और इसे लागू करने के लिए तैयार हैं। इस मौके पर उन्होंने पंजाब को आगे ले जाने के लिए सभी पंजाबियों को भाजपा का साथ देने का न्यौता दिया है ।
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